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शनिवार, 25 मई 2019

पिरॅमिड्स- एक रहश्यमयी संरचना

                                                   पिरॅमिड्स एक ऐसी रहश्यमयी संरचना है जो आज भी वैज्ञानिको के लिए एक पहेली बानी हुई है। इजिप्त  के पिरॅमिड्स दुनिया भर में मशहूर है। कहा जाता है की इजिप्त  के राजाओंने अपनी कब्र के तौर पर इनका निर्माण करवाया। और जब राजा की मृत्यु हो जाती थी तो उसके शव की ममी बनाके इनके अंदर रख दी जाती थी। लेकिन आज जब हम इन पिरॅमिड्स को गौर से देखते है तो मन में ये सवाल खड़ा होता है, क्या सच में इन्हे सिर्फ कब्र के तौर पर बनाया गया था ? क्युँ की अगर हम उदहारण के तौर पर खुफु के पिरॅमिड को ले, तो उसे बनाने  के लिए 20 लाख से भी ज्यादा विशाल चट्टानों को दूर से यहाँ लाया गया। पुरे 20 साल मेहनत करके इस विशालकाय संरचना  निर्माण किया गया और वोह भी सिर्फ कब्र के लिए ! मुझे ये बात बिलकुल भी हजम नहीं हुई। मुझे ये सही नहीं लगा।  यहाँ कुछ तो गड़बड़ है। शायद आप लोग कहेंगे की पिरॅमिड अंदर ममी मिली है। इससे साफ होता है की यह कब्र के लिए ही बनाए गए थे। लेकिन क्या ये नहीं हो सकता की इसे किसी और ने, किसी और मकसद से बनाया होगा और उनके जाने के बाद इजिप्त  के राजाओंने अपना हक़ इन पिरॅमिड्स पर जताने के लिए इनकी दीवारों पर जानबूझकर झूठ को गढ़ा गया हो। क्युँ  की इसकी संरचना बेहद ही अदभुत है। और इसका निर्माण सिर्फ इजिप्त  में ही नहीं अमरीका महाद्वीप  की 'माया' सभ्यता के लोगो ने भी किया था।   सभ्यताए एक दूसरे से कभी नहीं मिली, क्युँ  की ये एक दूसरे से हजारो किलोमीटर के फसलों में थी। इनके बिच एक विशाल महासागर था। और सबसे अहम बात इन दोनों को एक दूसरे के वजूद की कोई जानकारी भी नहीं थी। फिर भी दोनों ने ही पिरॅमिड्स बनवाए। आखिर इन दोनों सभ्यताओं के एक ही समय पर इस संरचना की संकल्पना कैसे जन्मी ?
                                                   एक और बड़ा राज है, जिसने तो सारे वैज्ञानिको को हैरत में दाल रखा है। दोनों भी सभ्यताओं के 'ओरायन'  तारकासमुह की स्थिति में ही पिरॅमिड्स कैसे बने ? आखिर वोह क्या शक्ति थी जो इन दोनों सभ्यताओं के लोगो के दिमाग को जोड़े हुए थी ? क्युँ की इतने सारे इत्तेफ़ाक़ एक साथ कभी नहीं हो सकते। जरूर इसके पीछे किसी और का हाथ था। मेरा यह मानना है की इस योजना के पीछे एलियंस का हाथ था। और वह एलियंस जिस ग्रह से आये थे वह ओरायन तारकासमुह में है। इस लिए वोह अपनी निशानी छोड़ गए। जो एलियंस इजिप्त  में उतरे थे और जो माया लोगो से मिले वोह दोनों भी ओरायन तारकासमुह से ए थे। उनका मकसद था इंसानो की विकास में मदत करना और आने वाली पीढ़ियों के विकास के लिए ज्ञान देना। इजिप्त  के एक देवता जिनका नाम 'ओसायरस' था।  कहा जाता है वोह ओरायन से आये थे और अपना काम ख़त्म करके वोह वापस चले गए। ये देवता और कोई नहीं एलियंस ही थे। पिरॅमिड्स की शक्ल में उन देवताओ ने हमारे लिए बड़े सबूत छोड़े है। जिससे हम जान सके की वोह कहासे आये थे।
                                             इजिप्त  और माया ये दोनों सभ्यताए अलग-अलग थी। इनके देवता, पूजा करने के विधि, उनकी वेशभूषा, धर्म, विधिनियम सब कुछ अलग था। मगर दोनों में एक बात समान थी और वोह थी 'पिरॅमिड्स' . और आश्चर्य की बात  ये है की दोनों सभ्यताओं में 'ओरायन' को लेकर खासा आकर्षण था। इस कारण दोनों सभ्यताओं महान पिरॅमिड्स इसी तारकासमुह की रचना में बनाए गए। लेकिन सवाल ये उठता है की इन दोनों के आकर्षण के केंद्रबिंदु में 'ओरायन' ही क्युँ ? बाकि तारे क्युँ नहीं थे ? इसका एक ही अर्थ है की दोनों को भी 'ओरायन' के देवताओ (एलियंस) ने ही ज्ञान दिया था। और उन्होंने अपने  सबूत को पिरॅमिडस  के रूप में निर्माण करवाया। 

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